66 फीट रोड पर मुख्य सीवरेज लाइन बिछाने की प्रक्रिया की विजिलेंस जांच हुयी शुरू, जाने पूरा मामला

जब पंजाब और जालंधर निगम में कांग्रेस की सरकार थी, तब 2021 में 66 फुटी रोड (जहां उस समय बहुत विकास हुआ था) तक मुख्य सीवेज लाइन की सुविधा प्रदान की गई थी। 
66 फीट रोड पर मुख्य सीवरेज लाइन बिछाने की प्रक्रिया की विजिलेंस जांच हुयी शुरू, जाने पूरा मामला 
न्यूज डेस्क, आरएनएस, जालंधर (पंजाब)

इस पूरे क्षेत्र को सीवरेज सुविधा उपलब्ध कराने के लिए उस समय दिए गए तर्कों में इस क्षेत्र में विकसित 16 स्वीकृत कॉलोनियों का उल्लेख किया गया था, जहां ट्रीटमेंट प्लांट लगे हुए दिखाए गए थे और सभी कॉलोनियों का कुल सीवेज डिस्चार्ज 4 एम.एल.डी. बताया गया था। अब यह भी तर्क दिया गया कि इन 16 कॉलोनियों में कुल 2.40 मीटर सीवेज लाइन में उपयोग किया जा रहा है।

इस गड़बड़ी की शिकायत चंडीगढ़ में बैठे स्थानीय निकाय के अधिकारियों, मुख्यमंत्री कार्यालय और स्टेट ब्यूरो ऑफ विजिलेंस को भेजी गई, जिसके बाद 66 फीट रोड पर मुख्य सीवरेज लाइन बिछाने की प्रक्रिया की विजिलेंस जांच शुरू हो गई है।

हैरानी की बात यह है कि जालंधर नगर निगम के अधिकारियों ने 2021 में जिन कॉलोनियों को सीवेज लाइन की सुविधा मिली, उनसे पानी और सीवरेज के बिल नहीं वसूले। जब जालंधर निगम के लापरवाह अधिकारियों की शिकायत ऊपर तक की गई तो ऊपर से निर्देश मिलने और पूरे मामले की विजिलेंस जांच शुरू होने से इन कॉलोनियों की बकाया राशि अब करोड़ों रुपए तक पहुंच गई है।

जालंधर निगम के मौजूदा अधिकारी की ओर से अब 66 फुटा रोड पर काटी गई करीब 20 कॉलोनियों को नोटिस जारी किए गए हैं और उनसे वैध या अवैध सीवेज कनेक्शन के बारे में जानकारी मांगी गई है।

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