सरकारी कर्मचारियों की सैलरी में बड़ी बढ़ोतरी, 18 हजार से बढ़कर अब 26 हजार होगी बेसिक सैलरी

केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए गुड न्यूज है। कर्मचारियों के वेतन को संशोधित (salary revise update)किए जाने के बाद उनकी बेसिक सैलरी में मोटा इजाफा होने वाला है। फिलहाल कर्मचारियों को न्यूनतम बेसिक सैलरी 18 हजार रुपये दी जा रही है, जो रिवाइज होने के बाद 26 हजार पहुंच जाएगी। ऐसा होने पर कर्मचारियों के वेतन में 45 प्रतिशत तक का उछाल संभव है। यह कर्मचारियों के लिए इस साल में बड़ी सौगात होगी। इसमें फिटमेंट फैक्टर की भी अहम भूमिका होगी।
यह की जा रही है उम्मीद
8वें वेतन आयोग (8th pay commission latest News) में अब कर्मचारियों की सैलरी और पेंशन में बढ़ौतरी हो सकती है। फिटमेंट फैक्टर के आधार पर सैलरी और पेंशन में बढ़ौतरी जल्द किए जाने की संभावना है। कर्मचारियों का कहना है कि इस बढ़ती महंगाई को देखते हुए फिटमेंट फैक्टर (fitment factor) में बदलाव बेहद जरूरी है। इस आगामी बजट को लेकर कर्मचारी यह कयास लगाए बैठे हैं कि फिटमेंट फैक्टर बढ़ने के साथ ही कर्मचारियों की सैलरी में बंपर इजाफा देखने को मिल सकता है।
क्या है फिटमेंट फैक्टर
फिटमेंट फैक्टर का वेतन बढ़ौतरी में बड़ी भूमिका होती है। इस गुणांक के आधार पर सैलरी (Salary) और पेंशन (Pension) को रिवाइज किया जाता है। 7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) में 2.57 का फिटमेंट फैक्टर लागू हुआ था और कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन 7,000 से बढ़कर 18000 हो गया था।कर्मचारियों की ओर से भी मांग की जा रही है कि महंगाई को देखते हुए फिटमेंट में बदलाव बेहद जरूरी है।
हालांकि सैलरी रिविजन का अंतिम फैसला सरकार लेगी, जिस बारे में 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission update) के लागू होने पर ही कुछ कहा जा सकता है। माना जा रहा है कि अब 8वें वेतन आयोग में छठे वेतन आयोग (6th Pay commission) से भी अधिक फायदा कर्मचारियों को हो सकता है।
फिटमेंट फैक्टर को लेकर बना है उत्साह
जैसे-जैसे बजट नजदीक आ रहा है, कर्मचारियों में आठवें वेतन आयोग को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं। इस बढ़ती महंगाई को देखते हुए कर्मचारियों द्वारा आठवें वेतन आयोग में सैलरी में संशोधन से जुड़े गुणांक यानी फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाने की मांग की जा रही है। इसे देखते हुए अब कर्मचारियों की सैलरी को रिवाइज करने पर इसमें बंपर इजाफा देखने को मिलेगा। बता दें कि सैलरी और पेंशन (Salary and pension hike) में बदलाव के लिए एक विशिष्ट गुणांक का निर्धारण किया जाता है।
7वें आयोग ने इस गुणांक को बढ़ाकर एक नया न्यूनतम वेतन 17,990 रुपये निर्धारित किया था। अब 8वें आयोग की सिफारिशों में इस गुणांक (8th pay commision news) को लेकर अधिक होने के रूप में इसका बदलाव होने की संभावना है। इससे कर्मचारियों में उत्साह बना हुआ है। वेतन आयोग के अध्यक्ष 2026 तक अपनी सिफारिशें देंगे, जिसमें इस संदर्भ में बदलाव का निर्णय लिया जाएगा। इस परिवर्तन से कर्मचारियों के वेतन में वृद्धि हो सकती है।
2026 में लागू होना है 8वां वेतन आयोग
बताया जा रहा है कि केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन का रिवाइज करने के लिए प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi) ने 8वें वेतन आयोग के गठन को मंजूरी दे दी है। हालांकि इसकी कई प्रक्रियाएं अभी बाकी हैं। साल 2025 के दिसंबर के अंत में 7वें वेतन आयोग का 10 साल का समय पूरा होने पर 2026 में 8th Pay Commission की सिफारिशों को लागू किया जाना है।
8वें वेतन आयोग में कितनी होगी सैलरी
केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में सबसे कम वृद्धि 7वें आयोग (7th Pay Commission) के दौरान हुई। इसमें एक विशेष गुणांक के आधार पर वेतन तय किया गया था, जो 2.57 गुना था। इसके परिणामस्वरूप बेसिक वेतन 18000 रुपए हुआ। यदि यही तरीका 8वें आयोग में अपनाया जाता है, तो फिटमेंट फैक्टर (fitment factor Hike Update) के हिसाब से न्यूनतम वेतन 26000 रुपए तक हो सकता है। इस बदलाव से कर्मचारियों की सैलरी में अच्छी खासी बढ़ोतरी संभव है।
किस वेतन आयोग में कितनी हुई थी बढ़ोत्तरी
4th Pay Commission के तहत केंद्रीय कर्मचारियों की वेतन में 27.6 प्रतिशत की वृद्धि की गई। इसके परिणामस्वरूप कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन 750 रुपए तय किया गया, जिससे उनके जीवन स्तर में कुछ सुधार हुआ और आर्थिक स्थिति में स्थिरता आई। इस सुधार ने कर्मचारियों के लिए आर्थिक राहत और बेहतर जीवनशैली के दरवाजे खोले।
5th Pay Commission में सरकारी कर्मचारियों को एक महत्वपूर्ण लाभ प्रदान किया, जिसके अंतर्गत उनकी सैलरी में 31 प्रतिशत की बढ़ोतरी की गई। इस वृद्धि के कारण कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन बढ़कर एक नया स्तर हासिल किया, उस समय कर्मचारियों का वेतन 2550 हो गया। जो उनके आर्थिक स्थिति को सुधारने में सहायक साबित हुआ और उनके जीवन स्तर में सुधार आया।
6th Pay Commission में फिटमेंट फैक्टर को 1.86 गुना निर्धारित किया गया, जिससे सरकारी कर्मचारियों की सैलरी में बड़े बदलाव हुए। इस सुधार के बाद, कर्मचारियों को न्यूनतम वेतन में 54 प्रतिशत का इज़ाफा हुआ और बेसिक सैलरी 7000 रुपये तक पहुंच गई, जो उनके लिए महत्वपूर्ण आर्थिक लाभ लेकर आया।
7th Pay Commission का गठन 2014 में हुआ, जिसमें फिटमेंट फैक्टर को 2.57 गुना बढ़ाया गया। हालांकि, इसका असर कर्मचारियों के वेतन में सिर्फ 14.29 प्रतिशत की वृद्धि के रूप में सामने आया। यह वृद्धि कर्मचारियों की उम्मीदों के मुकाबले अपेक्षाकृत कम थी, फिर भी कुछ आर्थिक सुधार देखने को मिले।
अब वेतन में होगी इतने प्रतिशत बढ़ोतरी
8वें वेतन आयोग के तहत अगर वेतन संशोधन पुराने तरीके से किया जाता है, तो कर्मचारियों का वेतन वृद्धि का आधार एक निश्चित गुणांक (fitment factor ki calculation) होगा। इस बदलाव से कर्मचारियों के न्यूनतम वेतन में 44.44 प्रतिशत की महत्वपूर्ण बढ़ोतरी हो सकती है, जिससे उनका वेतन 26000 रुपये (8th pay commission mein salary)तक पहुंच सकता है। इस प्रक्रिया में मुख्य रूप से गुणांक के आधार पर वेतन को बढ़ाया जाएगा, जिससे कर्मचारियों को ज्यादा वित्तीय लाभ मिलेगा और उनका जीवन स्तर बेहतर होगा।
8वें वेतन आयोग पर सरकार का रुख
सरकार ने हाल ही में एक नए वेतन (8th Pay Commission) आयोग को मंजूरी दी है, लेकिन इसके लिए अभी कुछ और प्रक्रियाएं बाकी हैं। सबसे पहले इसे कैबिनेट में मंजूरी के लिए भेजा जाएगा और फिर एक टीम बनाई जाएगी। इसमें शामिल लोग और उनका नेतृत्व तय किया जाएगा।
इस टीम का काम वेतन में बदलावों पर सुझाव देना होगा। माना जा रहा है कि यह पूरी प्रक्रिया 2026 (8th Pay Commission) में पूरी हो सकती है। केंद्रीय कर्मचारी और पेंशनर्स इस बदलाव का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं और सभी को उम्मीद है कि यह सुधार सही और न्यायपूर्ण होगा।