Uttarakhand News Bulletin-11 : शून्य रिटर्न भरने वाले कारोबारियों के खिलाफ चला अभियान, जानिए रुद्रपुर की ऐसी ही तमाम छोटी बड़ी खबरें...

Uttarakhand News Bulletin-11 : Campaign launched against businessmen who filed zero returns, know all such small and big news of Rudrapur

Uttarakhand News Bulletin-11 : शून्य रिटर्न भरने वाले कारोबारियों के खिलाफ चला अभियान, जानिए रुद्रपुर की ऐसी ही तमाम छोटी बड़ी खबरें...

रुद्रपुर। राज्य कर विभाग की टीम ने समय पर टैक्स जमा नहीं करने वाले और कारोबार चलने के बाद भी शून्य रिटर्न भरने वाले कारोबारियों के खिलाफ अभियान शुरू कर दिया है। इसके लिए राज्य कर विभाग की टीम ने जिले में 10 टीमें गठित की गयी हैं।

सभी टीमों ने कारोबारियों के दुकान पर बताए गये स्टॉक की जांच की और अन्य जानकारी ली। राज्य कर विभाग की गठित टीमों ने कारोबारियों की दुकानों में जांच शुरू की।  इस दौरान टीम ने कारोबारियों के बताये स्टॉक का मिलान शुरू किया। राज्य कर विभाग के असिस्टेंट कमिश्नर अनिल सिंहा ने सिब्बल सिनेमा के पास एक बैटरी की दुकान में स्टॉक की जांच की।

राज्य कर विभाग के ज्वाइंट कमिश्नर आरएल वर्मा ने बताया कि कई कारोबारी ऐसे हैं जिन्होंने विभाग में पंजीकरण तो करा रखा और कारोबार नहीं कर रहे हैं। इसके अलावा कई ऐसे कारोबारी भी जो कारोबार तो कर रहे हैं और शून्य रिटर्न दाखिल कर रहे हैं।

इसके अलावा टैक्स भी कैश जमा नहीं कर आईटीसी से जमा कर रहे हैं। इससे विभाग को टैक्स का नुकसान हो रहा है। उन्होंने बताया कि कई कारोबारी ऐसे भी जो स्टॉक ज्यादा दिखाकर टैक्स कम जमा करते हैं। ऐसे कारोबारियों के स्टॉक का मिलान किया जा रहा है।

इसी को लेकर अभियान चलाया गया है। यह अभियान पूरे प्रदेश में चल रहा है। उन्होंने बताया कि जांच में यह भी देखा जा रहा है कि कौन से फर्म पंजीकरण के बाद भी नहीं चल रही है। उन्होंने बताया कि इस अभियान में एक माह या इससे भी अधिक का समय लग सकता है।

विभाग का अभियान को चलाने का उद्देश्य सही व्यापारी को फायदा मिलना चाहिए और जो समय पर टैक्स जमा नहीं कर रहे हैं उस पर कार्रवाई होनी चाहिए।

अपने समाज के हित की बात बोली तो कांग्रेस ने किया निष्कासित

रुद्रपुर। सफाई कर्मचारी आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष संतोष गौरव को कांग्रेस पार्टी से छह साल के लिए निष्कासित कर दिया है। पार्टी द्वारा किए गए निष्कासन पर गौरव ने कहा कि जिस पार्टी में वह अपने समाज की बात न कह सकें, उस पार्टी में वह रह भी नहीं सकते।

नगर पालिका सभागार में आयोजित पत्रकार वार्ता में संतोष ने कहा कि उनका निष्कासन 27 जून को अग्निवीर योजना के खिलाफ चल रहे कांग्रेस का सत्याग्रह का विरोध करने पर किया गया। कहा कि केंद्र सरकार की अग्निवीर योजना में युवाओं को कम से कम चार साल तक नियमित रोजगार और सेवानिवृत्त होने पर 11 से 12 लाख रुपये देकर घर भेजने की योजना का वह समर्थन करते हैं। रिटायरमेंट के बाद भी अग्निवीरों को सरकारी नौकरियों में प्राथमिकता दी जाएगी।

सवाल उठाया कि 2008 से नगर पालिका में ठेका और संविदा प्रथा लागू हुयी, तब कांग्रेस ने इसका विरोध क्यों नहीं किया? नगर पालिका के 166 कर्मचारियों को वेतन का भुगतान नहीं हो रहा था, तब भी कांग्रेस चुप रही। प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कर्मचारियों का छह माह का वेतन जारी किया।

संतोष ने कहा कि उन्हें समाचार पत्रों से पता चला कि उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। कहा कि वह ऐसे किसी दल में नहीं रह सकते जिसमें उनके समाज की उपेक्षा हो। संतोष गौरव ने जान का खतरा भी जताया।

उनका कहना था कि खटीमा में कांग्रेस के बड़े नेता उन्हें झूठे मामलों में फंसाने की कोशिश कर सकते हैं। इस दौरान कांग्रेस वार्ड संख्या 16 के बूथ अध्यक्ष गोविंदा और सचिव भारत भूषण भारती ने भी पार्टी से इस्तीफा दे दिया।

ड्यूटी ज्वाइन करने के बाद भी इंटॉर्क श्रमिक असमंजस में

रुद्रपुर। लंबे समय से आंदोलित इंटार्क श्रमिकों ने प्रबंधन के आदेश के बाद कंपनी में ज्वाइन तो कर लिया है, लेकिन सभी आंदोलित श्रमिक असमंजस की स्थिति में हैं। इसका कारण यह है कि करीब 48 घंटे अब तक ड्यूटी करने के बाद भी कंपनी प्रबंधन ने श्रमिकों के साथ बैठकर वार्ता तक नहीं की है।

श्रमिक चाहते हैं, प्रबंधन वार्ता करे और उनकी मांगों को पूरा करे। इंटार्क श्रमिकों का कहना है कि 16 मार्च 2022 को कंपनी ने पंतनगर करीब 450 श्रमिकों की गेटबंदी कर कंपनी में गैर कानून तरीके से तालाबंदी कर थी।

इसके बाद श्रमिकों ने आंदोलन शुरू कर दिया था। इसमें उनके परिजन भी शामिल रहे। श्रमिकों का कहना है कि पूर्व में शासन ने भी कंपनी की गेटबंदी को गैरकानूनी बताया था। बावजूद कंपनी प्रबंधन ने गेटबंदी नहीं खोली।

श्रमिकों के कहा कि वर्ष 2018 से श्रमिकों के बोनस, कैंटीन की सुविधा और बस की सुविधा भी बंद कर दी गयी थी। इन वर्षों में उनका कोई वेतन भी नहीं बढ़ाया गया। अभी भी उनका चार माह का वेतन रूका हुआ है। अब प्रबंधन ने गेटबंदी तो खोल दी है, लेकिन अभी तक श्रमिकों से उनकी मांगों को लेकर कोई चर्चा नहीं की है।

विगत दिवस कंपनी प्रबंधन ने गेटबंदी खोल दी है। इसके साथ ही सभी 450 श्रमिक काम पर लौट आये हैं, लेकिन कंपनी प्रबंधन ने अभी तक श्रमिकों की मांगों को लेकर कोई चर्चा नहीं की है। श्रमिक चाहते हैं उनकी मांगों पर बैठकर चर्चा होनी चाहिए।   -दलजीत सिंह, अध्यक्ष, इंटरार्क मजदूर संगठन सिडकुल पंतनगर

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